Centre for Jawaharlal Nehru Studies (CJNS), Jamia Millia Islamia holds an Extension Lecture on “Development in Indian Culture: Perception and Process”
जामिया के जवाहरलाल नेहरू अध्ययन केंद्र (सीजेएनएस) ने "डेवलपमेंट इन इंडियन कल्चर: परसेप्शन एंड प्रोसेस" विषय पर एक विस्तार व्याख्यान आयोजित किया
जवाहरलाल नेहरू अध्ययन केंद्र (सीजेएनएस), जामिया मिल्लिया इस्लामिया ने 6 अगस्त, 2025 को "डेवलपमेंट इन इंडियन कल्चर: परसेप्शन एंड प्रोसेस" विषय पर एक विस्तार व्याख्यान का आयोजन किया।
यह कार्यक्रम जामिया मिल्लिया इस्लामिया के माननीय कुलपति प्रोफेसर मज़हर आसिफ़ और जामिया मिल्लिया इस्लामिया के रजिस्ट्रार प्रोफेसर मोहम्मद महताब आलम रिज़वी के नेतृत्व में आयोजित किया गया था। व्याख्यान की अध्यक्षता सीजेएनएस, जेएमआई की मानद निदेशक प्रोफेसर भारती शर्मा ने की।
व्याख्यान के मुख्य वक्ता सामाजिक विज्ञान संकाय के पूर्व डीन और जम्मू विश्वविद्यालय में इतिहास विभाग के अध्यक्ष प्रोफेसर जिगर मोहम्मद थे। व्याख्यान का संयोजन सीजेएनएस की सहायक प्रोफेसर डॉ. इति बहादुर ने किया। इसमें सीजेएनएस के प्रो. वेलायुथम सरवनन और जामिया मिल्लिया इस्लामिया के अन्य संकाय सदस्यों ने भाग लिया। व्याख्यान की शुरुआत सीजेएनएस के शोध छात्र कपिल यादव द्वारा स्वागत भाषण से हुई।
प्रो. जिगर मोहम्मद ने विकास के तीन मूलभूत आयामों: रचनात्मकता, उत्पादकता और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता की पहचान करके अपने व्याख्यान की शुरुआत की। उन्होंने भारतीय संस्कृति के ढांचे के भीतर आलोचनात्मक सोच के महत्व पर बल दिया और भारत के सांस्कृतिक इतिहास का पता लगाया। उन्होंने भारत के सांस्कृतिक और बौद्धिक इतिहास पर प्रकाश डाला और कहा कि भारतीय संस्कृति अनिवार्य रूप से एक ज्ञान-आधारित प्रणाली थी। प्रो. मोहम्मद ने अपने व्याख्यान में भारतीय राष्ट्रीय आंदोलन के कुछ प्रमुख विचारकों पर बात की, जिन्होंने आधुनिक भारत में समावेशी विकास के दृष्टिकोण को आकार देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
व्याख्यान में जामिया मिल्लिया इस्लामिया के विभिन्न केंद्रों और विभागों के संकाय सदस्यों और शोधर्थियों की सक्रिय भागीदारी देखी गई। प्रश्नोत्तर सत्र शुरू करने से पहले, उन्होंने व्याख्यान की स्पष्टता और संक्षिप्तता की भी सराहना की। कार्यक्रम का समापन सीजेएनएस की शोधार्थी अज़्का अली खान द्वारा औपचारिक धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ।
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